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नेपाल में भारतीय सीमा के करीब बीरगंज में प्रदर्शन करते समय पुलिस की गोली से एक भारतीय की मौत हो गई। नेपाल के गृह सचिव सूर्या सिलवाल ने पुलिस के साथ झड़प में हुई इस मौत की पुष्टि की। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के मुताबिक़ मृतक (आशीष कुमार राम) बिहार के रक्सौल ज़िले का निवासी है। इस सम्बन्ध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नेपाल के प्रधानमंत्री से बात कर इस कृत्य की कड़ी आलोचना की और उनसे घटना का विस्तृत व्योरा माँगा है।
भारत-नेपाल सीमा पर तनाव लगातार बढ़ता ही जा रहा है। भारतीय सीमा के निकट सोमवार को प्रदर्शनकारियों द्वारा भारी पथराव किया गया , जिसको नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने कई राउंड फायर किया और आंसू गैस के गोले भी छोड़े। बीरगंज-रक्सौल सीमा पर प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित कर पाना जब कठिन हो गया तो पुलिस ने उन्हें खदेड़ा। पुलिस के डर से प्रदर्शनकारी पास के ही पुल पर भाग गए, जो भारत और नेपाल को जोड़ता है। मृतक को पास के ही एक अस्पताल में ले जाया गया तो चिकित्सक ने उसे मृत घोषित कर दिया, बाद में यह पता चला कि मृतक भारतीय है।
गौरतलब है कि नेपाल में जारी नए संविधान के बाद से ही भारतीय सीमा के निकट नेपाल-भारत के सभी प्रवेश बिंदुओं पर पिछले डेढ़ महीने से तनाव का माहौल बना हुआ है। नेपाल में मधेश आधारित राजनीतिक पार्टी नए संविधान व संघवाद की अवधारणा को लेकर नाराज है। बीरगंज एक ऐसी जगह है, जहां से नेपाल को ईंधन व खाने-पीने के सामान भेजे जाते हैं। प्रदर्शनकारियों की वजह से नेपाल को आयात में भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। नेपाल के दक्षिण हिस्से में आंदोलन भड़कने के बाद से लेकर अब तक लगभग 50 लोग मारे जा चुके हैं।