एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
आज सुबह ही सीबीआई की एक विशेष अदालत ने अपना फैसला सुनाते हुए सभी आरोपियों को रिहा कर दिया है। सीबीआई कोर्ट के इस फैसले के बाद कांग्रेस ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए 2G स्पेक्ट्रम घोटाले का आरोप कांग्रेस के पूर्व महालेखा परीक्षक(कैग) पर थोप दिया है। कांग्रेस की मांग है कि विनोद राय को देश से माफ़ी मांगकर अपने सभी पदों से इस्तीफा दे देना चाहिए।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता वीरप्पा मोइली ने संसद में आज कहा कि कैग का आरोप अनुमानों पर आधारित था और अनुमान न्याय प्रक्रिया में टिक नहीं सकते। आगे उन्होंने कहा कि विनोद राय को इसके लिए देश से माफ़ी मांगनी चाहिए और साथ ही केंद्र सरकार में जितने पदों पर उनकी नियुक्ति हुई है, उन्हें उन सभी पदों से इस्तीफा दे देना चाहिए।
मोईली ने कहा कि बिना बोली के 2G स्पेक्ट्रम आवंटन का फैसला राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार का था। वहीं मनमोहन सरकार ने तो बोली के आधार पर 2G स्पेक्ट्रम के लाइसेंस आवंटन करने की व्यवस्था शुरू की थी। अगर 2G के लाइसेंस आवंटन के समय कोई घोटाला हुआ है, तो इसके लिए अपराधी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन सरकार को ठहराना चाहिए न की मनमोहन सिंह सरकार को।
आगे उन्होंने ने मीडिया को भी आड़े हाथों लिया और कहा कि मीडिया ने इस बात का हौवा बना दिया था और इसका फायदा भाजपा ने उठाया। जिसके कारण ऐसे ही मुद्दों को उठा-उठाकर भाजपा ने केंद्र में सरकार बना ली थी और इन मुद्दों की सत्ता परिवर्तन में मुख्य भूमिका रही थी। कांग्रेस नेता शशि थरूर ने कहा कि अदालत का फैसला स्वीकार है और इससे साबित होता है कि कांग्रेस सरकार पर लगाए गए सारे आरोप गलत थे।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने भी इस घोटाले के लिए तत्कालीन कैग विनोद राय पर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार को बदनाम करने के लिए विनोद राय ने षडयंत्र रचा था। इस फैसले ने साबित कर दिया कि तत्कालीन कैग राय की निष्ठा किस ओर थी। जब मैंने उस समय यह बात कही थी, तब विपक्ष और ऑनलाइन मीडिया यूजर्स ने मुझे खूब भला-बुरा कहा था।