एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
कर्नाटक विधानसभा चुनाव के नतीज़े बीजेपी, कांग्रेस और जेडीएस के लिए चौंकाने वाले हैं। वजह है लिंगायत समुदाय, कर्नाटक में कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार ने चुनाव से पहले लिंगायत कार्ड खेलते हुए प्रदेश में इस समुदाय को अल्पसंख्यक का दर्ज़ा देने के लिए प्रस्ताव पारित किया था।
कांग्रेस के इस दांव से सियासी गलियारों में माना जा रहा था कि लिंगायत समुदाय कांग्रेस की ओर बढ़ चलेगा और चुनावों में उसे ही वोट देगा, बीजेपी को इससे बड़ा नुकसान होने का अंदेशा था। लेकिन आज आए चुनावी नतीज़ों ने सभी को चौंका दिया है। नतीज़ो से साफ है कि लिंगायत समुदाय का वोट बड़ी संख्या में बीजेपी के पाले में आ गया है। लिंगायत समुदाय के प्रभाव वाले क्षेत्रों की कुल विधानसभा सीटों में से 44 सीटों पर बीजेपी आगे चल रही है।
बीजेपी ने चुनाव से पहले लिंगायत समुदाय को लेकर कांग्रेस की प्रदेश सरकार की ओर से पास प्रस्ताव का विरोध किया था। बीजेपी का कहना था कि इससे समाज में बंटवारा होगा और सामाजिक, आर्थिक स्तर पर इसका असर देखने को मिलेगा।
कुछ का तो यही मानना था कि कांग्रेस ने ऐसा सिर्फ चुनावों में जीत हासिल करने के लिए किया है। लेकिन कांग्रेस का ऐसा मानना गलत ही साबित हुआ, कर्नाटक की 224 विधानसभा सीटों में से 100 सीटों पर लिंगायत समुदाय का प्रभाव है।