एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
देश के प्रमुख इस्लामी शिक्षण संस्थान दारुल उलूम देवबंद ने फतवा जारी किया है। फतवे में कहा गया है कि बैंक की नौकरी से चलने वाले घरों से शादी का रिश्ता जोड़ने से परहेज करने और शरीर के अंगों को जाहिर करने वाले तंग बुरके नहीं पहनने को कहा है।
दारुल उलूम के फतवा विभाग ‘दारुल इफ्ता’ ने बैंक की नौकरी करने वाले व्यक्ति के घर में शादी का रिश्ता करने के इस्लामी नुक्ते-नजर से दुरुस्त होने के बारे में पूछे गये सवाल पर कल फतवा जारी कर दिया गया था। फतवे में कहा गया है कि ऐसे परिवार में शादी से परहेज किया जाए। हराम दौलत से पले-बढ़े लोग आमतौर पर सहज प्रवृत्ति और नैतिक रूप से अच्छे नहीं होते, इसलिए ऐसे घरों में रिश्ते से परहेज करना चाहिए।
इस्लामी कानून या शरीयत में ब्याज वसूली के लिए रकम देना और लेना शुरू से ही हराम माना जाता रहा है। इस्लाम के मुताबिक धन का अपना कोई स्वाभाविक मूल्य नहीं होता, इसलिये दुनिया के कुछ देशों में इस्लामी बैंक ब्याजमुक्त बैंकिंग के सिद्धांतों पर काम करते हैं।