ब्यूरो | navpravah.com
नई दिल्ली | पश्चिम बंगाल के संदेशखाली में हुए महिलाओं के कथित उत्पीड़न का मामला लगातार तूल पकड़ रहा है। पश्चिम बंगाल में बीजेपी समेत सभी विपक्षी दल लगातार ममता सरकार पर हल्ला बोल रहे हैं। इसी बीच ये खबर भी आ रही है कि प्रधानमंत्री मोदी 6 मार्च को बंगाल दौरे के दौरान संदेशखाली जाकर पीड़ित महिलाओं से मुलाकात कर सकते हैं। संदेशखाली में तृणमूल कांग्रेस के बड़े नेता शाहजहां शेख और उसके समर्थकों पर बड़ी संख्या में महिलाओं ने जमीन हड़पने और यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया है।
संदेशखाली मामले के सामने आने के बाद से ही बीजेपी समेत तमाम दलों ने इसका विरोध किया और वो लगातार घटनास्थल का दौरा करने की कोशिश कर रहे थे। हालांकि, बंगाल प्रशासन ने शुरुआत में नेताओं को संदेशखाली नहीं जाने दिया। जिसके बाद हाई कोर्ट के हस्तक्षेप से विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी समेत बीजेपी के कुछ विधायक संदेशखाली पहुंचकर स्थानीय लोगों से मुलाकात की।
राज्य के विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी ने पिछले दिनों ‘इंडिया टुडे’ से कहा था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पश्चिम बंगाल के दौरे के दौरान संदेशखाली की उन महिलाओं से मुलाकात कर सकते हैं, जिन्होंने टीएमसी नेताओं के खिलाफ यौन हिंसा के आरोप लगाए थे। पीएम मोदी के दौरे की तैयारी की जा रही है।
वहीं पश्चिम बंगाल के बीजेपी यूनिट के मजूमदार ने कहा, “हमें आज पता चला कि प्रधानमंत्री छ: मार्च को राज्य का दौरा करेंगे और बारासात में महिलाओं की एक रैली को संबोधित करेंगे।” यह पूछे जाने पर कि क्या प्रधानमंत्री संदेशखाली की महिलाओं से मिलेंगे, जो उत्तर 24 परगना जिले में ही स्थित है, मजूमदार से कहा, “अगर संदेशखाली की बहनें और माताएं प्रधानमंत्री से मिलना चाहती हैं, तो हम निश्चित रूप से इसकी व्यवस्था करेंगें।”
2024 के चुनाव पर भी नज़र-
प्रधान मंत्री मोदी के इस दौरे को राजनीतिक लहजे से भी देखा जा रहा है। कुछ राजनीतिक जानकार कहते है कि ये बंगाल में बीजेपी को स्थापित करने का सही मौका है जिसे पीएम मोदी खोना नहीं चाहते। संदेशखाली के दौरे से वे देश में एक संदेश देना चाहते हैं। वे वहां से ममता समेत पूरे INDIA गठबंधन को घेरने का प्रयास करेंगे। इस मुद्दे से प्रधान मंत्री मोदी बंगाल में बीजेपी की राजनीति को और तेज कर सकते हैं।