सौम्या केसरवानी,
राहुल ने अपनी किसान यात्रा को नए ऐलान के साथ खासा गंभीर बना दिया है। राहुल के इस नये ऐलान से यूपी कांग्रेस में टिकट के दावेदारों के पसीने छूट रहे हैं। लेकिन ऐलान राहुल का है, तो उस पर अमल तो करना ही पड़ेगा।
राहुल ने उत्तर प्रदेश कांग्रेस को लिखित निर्देश जारी करते हुए कहा है कि जिन लोगों ने टिकट के लिए आवेदन किया है, उनमें से हर एक को 10 हजार घरों में किसान कर्ज माफ, बिजली बिल माफ और न्यूनतम मूल्य का हिसाब करो वाला फॉर्म देना होगा।
वीडियो रिकॉर्डिंग भी सुबूत के तौर पर रखनी होगी। फॉर्म भरने वाले की कांग्रेस को वोट देने की सहमति तो होगी ही, तो फॉर्म भरने वाले से किसान का कर्ज माफ, बिजली का बिल माफ और सही न्यूनतम समर्थन मूल्य का कांग्रेस का लिखित वादा होगा। ये काम राहुल की किसान यात्रा खत्म होने तक पूरा हो ही जाना चाहिए।
मामले को गंभीरता से लेते हुए राहुल ने ये भी दो टूक कह दिया है कि हर विधानसभा से जो पहले तीन प्रत्याशी 10 हजार फॉर्म भर देंगे, वही टिकट के दावेदार हो जाएंगे। टिकट उन्हीं में से किसी एक को बाद में दिया जाएगा और बाकी ये तय जान लें कि उनको टिकट नहीं मिलेगा।
सितंबर के आखिर में जांच पड़ताल पूरी कर ली जाएगी। इसके बाद हौसला अफजाई के लिए खुद राहुल गांधी हर विधानसभा के टॉप 3 में जगह बनाने वाले प्रत्याशियों से व्यक्तिगत मुलाकात करेंगे।
राहुल के इस प्लान का टारगेट है कि वो खाट चौपाल और कर्ज माफी के फॉर्म के जरिए करीब तीन करोड़ घरों तक पहुंच सकें। शुरुआत में करीब 9 हजार लोगों के टिकट लेने के लिए आवेदन किया था, उन सभी से बूथ के लिहाज से लिस्ट मांगी गयी थी, जिसमें 5 हजार की खुद ही छंटनी हो गई। पार्टी मानती है कि इन 4 हजार में होड़ मचेगी और कम से कम वो 4 नहीं तो 2.5 से 3 करोड़ घरों में अपना कर्ज माफ फॉर्म पहुंचा सकेगी।