शिखा पाण्डेय,
राजनीति में ‘कुर्सी’ का बड़ा महत्त्व है। सत्ता की कुर्सी तो आप सब जानते होंगे, जिस पर बैठकर नेता अपने भाग्य का फैसला करने वाली जनता का भाग्य लिखते हैं, लेकिन क्या कभी ऐसी ‘कुर्सी’ के बारे में सुना है, जो ‘सत्ता की कुर्सी’ दिलाने के लिए बड़ी लकी साबित हुई हो? जी हाँ! भारतीय जनता पार्टी के पास एक ऐसी ही ‘लकी कुर्सी’ है जिसने 2014 के लोकसभा चुनावों में पार्टी को 80 में से 71 सीटों पर जीत दिलाई थी।
लोकसभा चुनावों के बाद पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 19 दिसंबर को उत्तर प्रदेश के कानपुर में रैली करने वाले हैं। ऐसे में मोदी के लिए उनकी लकी कुर्सी को तैयार कर लिया गया है। बीजेपी कार्यकर्ता चाहते हैं कि पीएम मोदी कानपुर रैली के दौरान उसी कुर्सी पर बैठें।
बीजेपी जिला अध्यक्ष सुरेंद्र मैथानी से जब इस बारे में बात की गई तो उन्होंने कहा, “पीएम बनने के बाद मोदी पहली बार कानपुर आ रहे हैं। पार्टी कार्यकर्ता मानते हैं कि वह कुर्सी पार्टी के लिए लकी है। जब मोदी ने लोकसभा चुनाव में उसका इस्तेमाल किया था तो यूपी में पार्टी ने शानदार जीत दर्ज की थी। हम लोग मानते हैं कि अगर मोदी पर्रिवर्तन यात्रा की रैली में भी उसपर बैठेंगे तो 2017 में होने वाले विधानसभा चुनाव में भी सबसे ज्यादा सीटें जीतेंगे।”
सुरेंद्र ने उम्मीद जताई कि रैली में लगभग पांच लाख लोग शामिल होंगे। सुरेंद्र ने आगे कहा, “हम लोगों को इसके लिए एसपीजी या फिर किसी और प्रशासनिक अधिकारी से इजाजत भी नहीं लेनी होगी क्योंकि कानपुर में जो पार्टी के कार्यकर्ता हैं उनके द्वारा ही रैली की सारी तैयारियां की जा रही हैं।”
क्या है किस्सा लकी कुर्सी का-
प्राप्त जानकारी के मुताबिक, कुर्सी से जुड़ा एक पुराना किस्सा है जो पार्टी कार्यकर्ताओं ने खुद बताया है। उन्होंने बताया कि पीएम बनने से पहले पीएम कैंडिडेट के रूप में मोदी ने सबसे पहली रैली, ‘विजय शंखनाद’ रैली 19 अक्टूबर 2013 को कानपुर में की थी। उस रैली के दौरान नरेंद्र मोदी उसी कुर्सी पर बैठे थे। उसके बाद बीजेपी ने यूपी में 80 में से 71 सीटें जीत ली थीं। तब से पार्टी कर्यकर्ताओं को विश्वास हो गया कि वह कुर्सी लकी है। कानपुर भाजपा नेताओं ने कुर्सी को संभाल कर रखने के लिए एक ग्लास का चैंबर भी बनवा लिया था। कुर्सी को ज्यादा वक्त तक संभालकर रखने के लिए पार्टी ने दिल्ली से मजबूत शीशा मंगाया था। उस शीशे से 6/5.5/3 फीट का बॉक्स बनवाया गया था।
कुर्सी पिछले तीन सालों से पार्टी के जिला कार्यालय में रखी हुई थी। कुर्सी के अलावा वह ग्लास जिससे पीएम मोदी ने रैली के दौरान पानी पिया वह भी रखा हुआ है। उसके अलावा एक डिब्बा और है। उसमें मशहूर ठग्गू के लड्डू रखे हुए हैं, जो कि मोदी को भेंट किए गए थे। मोदी की 19 दिसंबर को होने वाली रैली का कार्यक्रम तय होते ही कुर्सी को बाहर निकलवाकर उसे साफ करवाया गया और पॉलिश भी करवाया गया।
आपको बता दें कि यह रैली निराला नगर के रैलवे ग्राउंड में होनी है। गुरुवार (8 दिसंबर) को पार्टी कार्यकर्ताओं ने रैली की तैयारी शुरू करने से पहले पूजा भी करवाई थी। पार्टी कार्यकर्ता मेडिकल कॉलेज, आईआईटी-कानपुर, इंजीनियरिंग कॉलेजों और कोचिंग सेंटर्स में जा-जाकर रैली में आने का न्योता दे रहे हैं।