एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
केरल में सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश के बाद किए गए शुद्धिकरण के खिलाफ दायर की गई अवमानना याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 22 जनवरी को सुनवाई करेगा।
याचिका दायर करने वाले वकील पीवी दिनेश ने कहा कि, कोर्ट के आदेश के बावजूद मंदिर में कल किया गया शुद्धिकरण कोर्ट की अवमानना है, इस मामले में कोर्ट ने जल्द सुनवाई करने से इंकार कर दिया है।
बता दें कि दो महिलाएं मंदिर में दर्शन कर जैसे ही लौटी उसके बाद मंदिर को बंद कर दिया गया और मंदिर के शुद्धिकरण के बाद मंदिर के कपाट को दोबारा खोल दिया गया।
महिलाओं के मंदिर में प्रवेश की खबर फैलने के बाद, दक्षिणपंथी समूहों के कार्यकर्ताओं ने विरोध करते हुए राजमार्ग बाधित किए थे, उन्होंने दुकानों तथा बाजारों को बंद करावा दिया था।
प्रतिबंधित आयु वर्ग (10 से 50 वर्ष) की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश देने के सुप्रीम कोर्ट के 28 सितंबर के फैसले के खिलाफ प्रदर्शन का नेतृत्व कर रही समिति ने लोगों से उनके प्रदर्शन में उनका सहयोग करने की अपील की।
बता दें कि, काले रंग के परिधान पहने दो महिलाओं कनकदुर्गा (44 वर्ष) और बिंदू (42 वर्ष) ने हिन्दूवादी संगठनों की तमाम धमकियों की परवाह न करते हुए कल भगवान अयप्पा के सबरीमला मंदिर में प्रवेश कर सदियों पुरानी परंपरा तोड़ दी।