लखनऊ. उत्तर प्रदेश सरकार ने भर्ती परीक्षाओं में धांधली रोकने के लिए सीबी पालीवाल कमेटी की रिपोर्ट पर अमल शुरू कर दिया है। उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने भर्ती परीक्षाओं में धांधली या गड़बड़ी करने वालों को परीक्षा से तीन साल के लिए प्रतिबंधित करने का फैसला किया है। इस संबंध में अधीनस्थ सेवा चयन आयोग ने आदेश जारी कर दिया है।
आयोग के सचिव आशुतोष मोहन चतुर्वेदी ने जारी आदेश में कहा है कि वास्तविक अभ्यर्थी के स्थान पर दूसरे परीक्षार्थी यानी मुन्ना भाई के पकड़े जाने पर संबंधित परीक्षार्थी को तीन साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया जाएगा। इसी तरह प्रवेश पत्र में हेराफेरी कर दूसरे को बैठाने पर भी तीन साल के लिए प्रतिबंधित किया जाएगा। उत्तरपुस्तिका या ओएमआर शीट की अदला-बदली करने पर दो साल के लिए प्रतिबंधित करने की व्यवथा की गई है।
इसके साथ ही परीक्षा कक्ष में मोबाइल, कैल्कुलेटर, इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस या अन्य प्रतिबंधित सामान साथ रखने या इसका उपयोग करने पर एक साल के लिए प्रतिबंधित करने की व्यवस्था की गई है। अभ्यर्थियों द्वारा ओएमआर शीट की प्रति कक्ष निरीक्षक को न देकर अपने साथ ले जाने पर भी कार्रवाई की व्यवस्था की गई है। संबंधित अभ्यर्थी के खिलाफ रिपोर्ट भी दर्ज कराई जाएगी। इसी तरह अपने साथ प्रश्न पत्र ले जाने वाले अभ्यर्थी को एक वर्ष के लिए परीक्षा से प्रतिबंधित करने पर फैसला हुआ है। आयोग अन्य मामलों में अलग से फैसला लेने में स्वतंत्र होगा।