वाराणसी। पीडब्ल्यूडी विभाग की लापरवाही की वजह से चीफ इंजीनियर के कमरे में ठेकेदार अवधेश श्रीवास्तव ने खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। सूचना मिलते ही पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में ले लिया। डीएम, एसएसपी और एसपी सिटी सहित सभी अधिकारी भी मौके पर पहुंचे और मामले की जानकारी ली। विभागीय लोगों के अनुसार अस्पताल के सीसी रोड, वाटर हार्वेस्टिंग व पम्प हाउस के काम का 48 लाख रुपये का भुगतान होना था।
विभाग पर काफी रकम थी बकाया
मूल रूप से गाजीपुर जिला निवासी ठेकेदार अवधेश चंद्र श्रीवास्तव पीडब्ल्यूडी में ठेकेदारी करते थे। लंबे समय से विभाग पर काफी रकम बकाया थी। विभागीय लापरवाही के कारण लंबे समय से उनका भुगतान नहीं हो पा रहा था। बुधवार की सुबह क्षुब्ध हो कर चीफ इंजीनियर कार्यालय में अवधेश पहुंचे तो बकाया भुगतान करने को कहा, इस पर चीफ इंजीनियर ने उनको बुरी तरह डांट दिया। इसी दौरान ठेकेदार ने मुख्य अभियंता अम्बिका सिंह के सामने असलहा निकालकर खुद को गोली मार ली। गोली चलने की जानकारी होने के बाद परिसर में हड़कंप मच गया और मौके पर विभागीय लोग पहुंचे तो ठेकेदार की मौत हो चुकी थी।
करोडों का चल रहा था ठेका
विभागीय सूत्रों के अनुसार कबीरचौरा महिला अस्पताल निर्माण का लगभग 20 करोड़ रुपये का ठेका था, जिसमें लगभग 90 फीसद तक कार्य हो चुका था। तीन से चार करोड़ रुपये इस समय बकाया था। ठेकेदार इसी रकम के भुगतान के लिए कई माह से मुख्य अभियंता कार्यालय का चक्कर काट रहा था। मगर मुख्य अभियंता भुगतान के लिए टाल मटोल करते रहे। जबकि इसी महीने काम पूरा कर विभाग को हैंडओवर करना था। बकाया की वजह से ठेकेदार पर अधिक देनदारी हो गई थी मगर विभाग की ओर से भुगतान नहीं किया जा रहा था। विभाग की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार 1999।79 लाख रुपये कार्य का बजट था मगर कुल 1721।32 लाख रुपये भुगतान हो चुका था।