राजेश सोनी | Navpravah.com
राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ 2019 के लोकसभा चुनाव की तैयारी में जुट चुकी है। देश के युवा आबादी को देखते हुए आरएसएस अपने शीर्ष नेतृत्व में बड़े बदलाव करने जा रहा है। आरएसएस अपने शीर्ष नेतृत्व के लिए युवाओं को बड़ी जिम्मेदारी दे सकता है। मिंट की रिपोर्ट के अनुसार, आरएसएस के राष्ट्रीय महासचिव सुरेश भैयाजी जोशी मार्च में होने वाली अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा में पद छोड़ने का ऐलान कर सकते हैं।
बता दें कि जोशी के जाने के बाद यह पद के लिए जगह खाली हो जाएगी। इस पद के लिए आरएसएस के सयुंक्त महासचिव भैयाजी जोशी के करीबी दत्ताराय होसबोले इस पद के सबसे प्रबल दावेदार माना जा रहा है। होसबोले भैयाजी जोशी के साथ काफी लंबे समय से काम कर रहे हैं। आरएसएस में मोहन भागवत के बाद भैयाजी जोशी सबसे प्रभावशाली व्यक्ति हैं।
भैयाजी जोशी आरएसएस के तीन बार से राष्ट्रीय महासचिव चुने जा रहे हैं और उनका कार्यकाल इस साल मार्च में खत्म हो रहा है। आरएसएस के एक नेता के मुताबिक इस बार संगठन में युवाओं को ज्यादा तरजीह दी जाएगी। यह फैसला आरएसएस द्वारा देश में युवाओं की बड़ी आबादी को देखकर लिया जा रहा है। आरएसएस और अन्य हिन्दूवादी संगठन भी अपने संगठनों में अहम बदलाव करने जा रहे हैं। क्योंकि, यह सभी संगठनों ने 2014 के लोकसभा में मोदी सरकार बनाने में बहुत मदद की थी और यह करिश्मा यह सभी संगठन 2019 के लोकसभा में दौराना चाहते है।