टैक्स अदा करने वालों को इस साल के बजट से कई आशाएं हैं। लोग चाहते हैं कि पिछले साल के मुकाबले इस साल का बजट टैक्स फ्रेंडली हो। मिली जानकारी के अनुसार, चार्टर्ड अकाउंटेंट का कहना है कि इस बार इनकम टैक्स स्लैब में कई बदलाव होने की संभावनाएं हैं, क्योंकि पिछले साल के बजट में टैक्स स्लैब में कोई बदलाव नहीं किया गया था।
पुणे के इंस्टीट्यूट ऑफ चार्टर्ड अकाउंटेंट्स ऑफ इंडिया (ICAI) के चैयरमैन अरुण गिरी का कहना है कि भारत में चीन की तुलना में कुल टैक्स क्लेक्शन में डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन का पर्सेटेज बहुत ही कम है। इसके अलावा कोर्ट में मुकदमेबाज़ी में कर विभाग सक्सेस रेट भी बहुत कम है, जबकि इसकी तुलना में बड़ी संख्या में याचिकाएं फाइल की जाती हैं। इसलिए सरकार को बजट से पहले इन बातों का ध्यान रखना होगा। मिली जानकारी के अनुसार, अगर स्लैब में बदलाव हुआ, तो वित्तमंत्री इस बार 5 लाख रुपए से 10 लाख रुपए तक की आय वालों को कुछ राहत दे सकते हैं।
बता दें कि वित्त मंत्री अरुण जेटली ने बजट 2017-18 में मध्यम वर्ग को राहत देते हुए इनकम टैक्स स्लैब में बढ़ोत्तरी की थी, जिसमें तीन लाख रुपये तक आय वाले लोगों को कोई टैक्स नहीं देना था। इसके अलावा 3 से 5 लाख तक की आय वाले लोगों पर टैक्स 10 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी किया गया था।