एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
आधार मामले में आज केंद्र सरकार की ओर से पेश अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि डाटा संरक्षण पर उपाय सुझाने के लिए बनी कमेटी की रिपोर्ट आ चुकी है और अगर अदालत इजाजत दे तो इसे जमा करवा दिया जाएगा।
इस पर CJI दीपक मिश्रा ने कहा कि इसकी जरूरत नहीं है, दरअसल, आधार और उससे संबंधित 2016 के कानून की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की संवैधानिक बेंच ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।
आधार की संवैधानिक वैधता को चुनौती देते हुए कई याचिकाएं दायर की गई थीं, आधार का मुद्दा देशभर में काफी चर्चा में रहा है, कोर्ट में सुनवाई के दौरान डेटा की सुरक्षा को लेकर भी सवाल उठे थे, सुनवाई के दौरान केंद्र ने आधार को मोबाइल फोन से लिंक कराने के अपने फैसले का मजबूती से बचाव किया था।
इस बात की भी आशंका जताई गई थी कि आधार के लिए ली गई जानकारी कितनी सुरक्षित है? 18 अप्रैल को सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा था कि आधार डेटा लीक होने से चुनाव परिणाम प्रभावित हो सकते हैं।
कोर्ट ने कहा था कि आधार के लिए लिया जाने वाला डेटा सुरक्षित है, यह कहना मुश्किल है, क्योंकि देश में डेटा सुरक्षा को लेकर कोई कानून मौजूद नहीं है, यूआईडीएआई की ओर से कहा गया था कि बायोमेट्रिक डेटा किसी के साथ शेयर नहीं किया जाता है।