एनपी न्यूज़ डेस्क | Navpravah.com
सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस जे चेलमेश्वर आज रिटायर हो गए। ये उनके कार्यकाल का आखिरी दिन था, लेकिन उन्होंने अपना बंगला सुबह 5 बजे ही खाली कर दिया था।
6 साल पहले वह इस बंगले में शिफ्ट हुए थे। वह तब सबसे अधिक चर्चा में आए, जब उन्होंने चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा के खिलाफ एक अभूतपूर्व प्रेस कॉन्फ्रेंस में तीन अन्य वरिष्ठ न्यायाधीशों का नेतृत्व किया था।
उनके बंगले में 22 जून से पहले ही पैकिंग शुरू हो चुकी थी, उन्होंने तय किया था कि वह रिटायरमेंट के बाद अपने गृहप्रदेश लौट जाएंगे, 22 जून को उनके कार्यकाल का आखिरी दिन था।
आंध्र प्रदेश के कृष्णा जिले के मोव्या मंडल के पेड्डा मुत्तेवी में 23 जून 1953 को जन्मे चेलमेश्वर की शुरुआती पढ़ाई कृष्णा जिले के मछलीपत्तनम के हिन्दू हाईस्कूल से हुई और उन्होंने स्नातक चेन्नई के लोयोला कॉलेज से भौतिक विज्ञान में किया।
उन्होंने कानून की डिग्री 1976 में विशाखापत्तनम के आंध्र विश्वविद्यालय से ली थी वह तीन मई 2007 को गौहाटी हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश बने थे और बाद में केरल हाईकोर्ट में स्थानान्तरित हुये। न्यायमूर्ति चेलमेश्वर 10 अक्तूबर 2011 को उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश बने थे।
बता दें कि, दिल्ली में बड़ा पद पाने वाले अपने गृहनगर की ओर नहीं लौटते, लेकिन जस्टिस चेलमेश्वर ने उस परंपरा का पालन नहीं किया। उनसे पहले कुछ और हस्तियां हैं, जो अपना कार्यकाल खत्म कर अपने गृहनगर या गृह प्रदेश लौटी हैं।