पीयूष चिलवाल । Navpravah.com
बी के अयंगर नाम के व्यक्ति ने एक आरटीआई में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण से यह पूछा है कि आगरा में स्थित ऐतिहासिक स्मारक मकबरा है अथवा शिवमंदिर। इस प्रश्न पर अमल करते हुए केंद्रीय सूचना आयोग ने केंद्र सरकार से स्पष्ट करने के लिए कहा है कि वे इस मुद्दे पर उपजे विवाद को खत्म करने के लिए यह बताएं कि सफेद संगमरमर से बना यह ऐतिहासिक मकबरा ताजमहल है या तेजोमहल।
यह सवाल फ़िलहाल संस्कृति मंत्रालय के अधीन है। दुनिया के सात अजूबों में से एक ताजमहल पर सूचना आयुक्त ने एएसआई से आरटीआई आवेदक को स्पष्ट करने के लिए कहा है कि क्या संरक्षित स्थल की खुदाई की गयी है, यदि की गयी है तो बताया जाए कि वहां क्या मिला है। खुदाई से जुड़े मामलों में फैसला सम्बंधित अथोरिटी को लेना होगा। हालांकि उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि गुप्त कमरों या खुदाई वाले स्थानों को खोलने का निर्देश देना आयोग के अधीन नहीं आता।
इतिहासकार पी एन ओक ने अपनी किताब ताजमहलः द ट्रु स्टोरी में लिखा है कि ताजमहल शहजहां द्धारा बनाया मकबरा नहीं बल्कि राजपूत शाशक द्धारा बनाया गया शिव मंदिर है, जिसे उसने मुगल बादशाह शाहजहां को भेंट किया था और मुगल बादशाह ने उसे स्वीकार कर लिया था। ओक की किताब में किए गए इस दावे के बाद उक्त संरक्षित ऐतिहासिक स्मारक के ताजमहल या तेजोमहल होने पर संशय बना हुआ है।
हालांकि संरक्षित इमारत को शाहजहां का बनाया हुआ ताजमहल माना जाता है, जिसे उन्होंने अपनी बेगम मुमताज महल की याद में बनवाया था।