शिखा पाण्डेय । Navpravah.com
बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री और विधान सभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश यादव पर आरोप लगाया है कि उनपर भाजपा का रंग चढ़ गया है और वही रंग बिहार के अस्पतालों में भी बच्चों की मौत का कारण बना है। मुजफ्फरपुर अस्पताल में हुई बच्चों की मौत पर ताना मारते हुए कहा है कि मुख्यमंत्री पर भाजपा का रंग चढ़ चुका है। उसी के चलते बिहार के मुजफ्फरनगर में भी ऑक्सीजन की कमी पड़ने से बच्चों की मृत्यु हुई।
ट्विटर पर झटपट एक के बाद एक कई ट्वीट कर तेजस्वी ने पूछा, “नीतीश जी, आपकी नैतिकता कहां चली गई, जब राज्य के बच्चे ऑक्सीजन की कमी से मर रहे हैं?” तेजस्वी ने लिखा है, “नीतीश जी पर भाजपा का रंग चढ़ चुका है, तभी तो ऑक्सीजन की कमी से बिहार के अस्पतालों में भी बच्चें मरने लग गए हैं।”
सृजन घोटाले पर भागलपुर में आगामी रविवार (10 सितंबर) को एक जनसभा करने जा रहे तेजस्वी ने दूसरे ट्वीट में लिखा, “नीतीश जी चेहरा चमकाने में लीन हैं, जबकि मुज़फ्फरपुर में ऑक्सीजन से कई बच्चों की मौत और दरभंगा में एक्सपायर्ड ब्लड चढ़ाने से 8 बच्चों की मौत हो चुकी है।” अगले ट्वीटी में उन्होंने लिखा, “8 लोगों की मौत गलत खून या एक्सपाइरी खून चढाने से हुई है। लाल खून के इस काले कारोबार पर नीतीश सरकार नैतिकता रूपी कुंभकर्णी नींद में है।”
तेजस्वी ने पूछा, “नीतीश जी बिहार के अस्पतालों मे बच्चे और लोग मार रहे हैं। इसपर आपकी अंतरात्मा नहीं जागती क्या? मासूमों की मौत पर आपकी नैतिकता कहाँ छुप जाती है?”
तेजस्वी ने सृजन मामले में भी नीतीश पर निशाना साधा है। उन्होंने लिखा है, “चार बार नीतीश कुमार जी ने #सृजन घोटाले पर जाँच होने से रोक दिया, वरना इसका पर्दाफ़ाश 10 साल पहले ही हो गया होता।” #SrijanExposesNitish तेजस्वी ने अगले ट्वीट में आरोप लगाया कि नीतीश कुमार के इशारों पर छोटे-छोटे कर्मियों की गिरफ्तारी दिखाकर बड़ी मछलियों को बचाया जा रहा है और सबूत मिटाए जा रहे हैं, गवाहों को मारा जा रहा है। तेजस्वी ने आगे लिखा, “सृजन घोटाले के गढ़ भागलपुर को प्रस्थान कर चुके हैं। सृजन के गढ़ से ही सृजन घोटाले के सृजनकर्ताओं या सृजन के दुर्जनों का पर्दाफाश करेंगे।”
उल्लेखनीय है कि मुजफ्फरपुर स्थित श्रीकृष्ण मेडिकल कॉलेज अस्पताल (एसकेएमसीएच) में शुक्रवार की देर रात ऑक्सीजन की कमी से एक बच्ची की मौत के बाद अफरातफरी मच गई। परिजनों ने लापरवाही का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया। बवाल बढऩे की आशंका को देखते हुए अस्पताल प्रबंधन ने आनन-फानन बच्ची के शव को घर भेज दिया। एक ओर परिजनों का कहना है कि बच्ची की मौत ऑक्सीजन की कमी से हुई है तो दूसरी ओर अस्पताल ने इस बात से साफ़ इंकार किया है।
एसकेएमसीएच के स्वास्थ्य प्रबंधक मो. सोहैल ने कहा कि बच्ची को गंभीर स्थिति में लाया गया था। वह डायरिया से पीडि़त थी। उसकी मौत ऑक्सीजन की कमी से नहीं, बल्कि डायरिया से हुई है।