Health desk | नवप्रवाह न्यूज़ नेट्वर्क
तमाम देशों के वैक्सीन बनाने के प्रयास पर विश्व स्वास्थ्य संगठन ने एक बड़ा प्रश्नचिह्न लगा दिया है। डबल्यूएचओ ने स्पष्ट किया कि विभिन्न प्रयासों के बावजूद साल 2021 के पहले वैक्सीन का तैयार हो पाना मुश्किल है। WHO के मुताबिक, अगले साल तक वैक्सीन मिलने की उम्मीद है, लेकिन इसके मैन्यूफैक्चरिंग और डिस्ट्रीब्यूशन में और भी वक़्त लग सकता है।
रूस, चीन, अमेरिका और ब्रिटेन जैसे देशों में कोरोना वैक्सीन का विभिन्न चरणों में ट्रायल चल रहा है। लोग ये उम्मीद लगाए बैठे हैं कि जल्दी से वैक्सीन आ जाए तो सबकी गाड़ी पटरी पर आए, लेकिन डबल्यूएचओ के बयान ने एक बार फिर लोगों की उम्मीदों पर ब्रेक लगा दिया।
WHO के कार्यकारी निदेशक माइक रेयान ने स्पष्ट किया कि कोरोना वायरस की वैक्सीन बनाने के मामले में शोधकर्ताओं को कामयाबी मिल रही है, लेकिन साल 2021 के शुरुआती दिनों से पहले उसकी उम्मीद नहीं की जा सकती है। उन्होंने ये भी कहा कि ये ज़रूरी है कि वैक्सीन की सुरक्षा मानकों में कोई कमी नहीं की जाए, भले ही वैक्सीन बनने की गति थोड़ी धीमी हो जाए। आम लोगों को ये वैक्सीन देने से पहले, हमें उन्हें सुनिश्चित करना है कि वैक्सीन को सुरक्षित और प्रभावी बनाने के लिए हमने हर संभव एहतियात बरता है।
उन्होंने कहा कि कई संभावित वैक्सीन अपने ट्रायल के तीसरे फ़ेज़ में हैं और कोई भी वैक्सीन सुरक्षा मानकों या प्रभावी होने में अभी तक फ़ेल नहीं हुई है।