सौम्या केसरवानी | Navpravah.com
अगर आप करते हैं आफिस में नाइट शिफ्ट तो ये खबर आपके लिए हो सकती है। क्योंकि आजकल लोग ज्यादा पैसा और जल्दी सक्सेस पाने के लिए नाइट शिफ्ट भी करने लगे हैं। लेकिन इसके चलते आप डायबिटीज जैसी बीमारी को दावत भी देते हैं। इससे डायबिटीज होने का खतरा बढ़ जाता है। एक ताजा रिसर्च में दावा किया गया है कि ऑफिस में नाइट शिफ्ट करने वाले लोगों को डायबिटीज का ज्यादा खतरा रहता है।
इस विषय पर शोधकर्ताओं ने शोध किया है और उनका कहना है कि जो लोग ज्यादा नाइट शिफ्ट करते हैं, उन्हें टाइप 2 मधुमेह होने का खतरा बढ़ जाता है। ये मधुमेह, खून में शुगर की मात्रा को नियंत्रित करने वाली प्रक्रिया को बिगाड़ देता है। शोध के अनुसार, दिन की शिफ्ट के अलावा कोई अन्य समय पर ऑफिस जाना डायबिटीज को जन्म दे सकता है। हालांकि रिसर्च ये भी कहती है कि अगर आप हमेशा ही नाइट शिफ्ट करते आ रहे हैं, तो खतरा नहीं है, लेकिन बदल-बदल कर शिफ्ट में काम करने से खतरा हो सकता है।
फिजिशियन रेशू केसरवानी के अनुसार, आजकल की जीवन शैली सभी की बिगड़ी हुई है। आजकल पुरूष या स्त्री दोनों नाइट शिफ्ट करते हैं। रात भर जगने से और कम्प्यूटर में काम करने से कई बीमारियाँ घेर लेती हैं। डॉ. रेशू बताती हैं कि रात भर जागने से सोचने की शक्ति में फर्क आता है, आँखों मे भी असर पड़ता है।दिल की बीमारी और साथ ही डायबिटीज का भी खतरा होता है। क्योंकि हम खाना खाकर घंटों रात में काम करते हैं, जिससे हमारा शरीर खाना पचा नही पाता है और हमारे शरीर पर इसका असर पड़ता है और जिससे डायबिटीज होने का खतरा बढ़ जाता है।