21 अगस्त 2017 का सूर्यग्रहण होगा अद्भुत, अविस्मरणीय

शिखा पाण्डेय | Navpravah.com
21 अगस्त, 2017 को अमेरिका के 48 राज्य सूर्यग्रहण की आगोश में होंगे। उन सभी 48 राज्यों में अंधेरा छा जायेगा। इस दिन सूर्य चंद्रमा से पूरी तरह ढंक जायेगा और ओरेगॉन से साउथ कैरोलिना तक करीब 70 मील के दायरे में फैले राज्यों में सूर्य की रौशनी बिलकुल नहीं मिलेगी। इस सूर्यग्रहण की अवधि महज 2.40 मिनट (दो मिनट 40 सेकेंड) रहेगी। चार दशक बाद होनेवाली यह एक दुर्लभ खगोलीय घटना है, जिसे अमेरिकी महाद्वीप में स्पष्ट रूप से देखा जा सकेगा। सूर्यग्रहण की इस खबर से दुनिया भर के खगोलविद रोमांचित हैं। वे 21 अगस्त का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। जिन इलाकों में पूर्ण सूर्यग्रहण देखा जा सकेगा, उस क्षेत्र के लोगों के लिए यह एक अविस्मरणीय घटना बन जायेगी।
PC: American Astronomical Society

99 साल बाद यह पहला मौका होगा, जब अमेरिका के एक तट से लेकर दूसरे तट तक के 48 राज्यों में पूर्ण सूर्यग्रहण को स्पष्ट रूप से देखा जा सकेगा। मेसाचुसेट्स स्थित विलियम्स कॉलेज के खगोलविद जय पासाचॉफ के अनुसार यह एक जबरदस्त अवसर होगा। यह ऐसा अवसर होगा, जब आप अपने आसपास की दुनिया में बदलाव की अनुभूति करेंगे। आपको लगेगा कि आपके आसपास ब्रह्मांड बदल रहा है। पासाचॉफ कहते हैं कि अमेरिका ने 26 फरवरी, 1979 को ऐसे सूर्यग्रहण का नजारा किया था, लेकिन यह वैसा नहीं था, जैसा 21 अगस्त, 2017 को होनेवाला है।

पासाचॉफ ने अब तक 63 पूर्ण सूर्यग्रहण देखे हैं। इस बार भी वह पूर्ण सूर्यग्रहण का नजारा करना चाहते हैं। उनका कहना है कि वे सिर्फ मजे लेने के लिए या रिकॉर्ड बनाने के लिए पूर्ण सूर्यग्रहण नहीं देखते। सूर्यग्रहण खगोलविदों को सूर्य के सूक्ष्म बाहरी आवरण, जिसे कोरोना कहते हैं, के बारे में अध्ययन का मौका देता है। इससे कई रहस्यों का खुलासा करने का मौका मिलता है।

विशेषज्ञों का कहना है कि वर्ष 1776 के बाद यह पहला मौका है, जब पूर्ण सूर्यग्रहण अमेरिका तक ही सीमित रहेगा। खगोलविदों ने इस अद्भुत खगोलीय घटना से वंचित रहनेवाले लोगों से कहा है कि उन्हें निराश होने की जरूरत नहीं है। मैक्सिको और टेक्सास के अलावा मध्य-पश्चिमी और पूर्वोत्तर अमेरिका में वर्ष 2024 में ऐसा ही नजारा देखा जायेगा, जिसका वे आनंद ले सकेंगे। यहां बताना प्रासंगिक होगा कि हर साल चार-पांच सूर्यग्रहण होते हैं, जो आंशिक होते हैं। 18 महीने में एक बार पूर्ण सूर्यग्रहण होता है, लेकिन घनी आबादीवाले क्षेत्रों में ऐसा मौका दशकों में एक बार आता है।

इडाहो, व्योमिंग, नेब्रास्का, कंसास, मिसौरी, इलिनॉय, केंटकी, टेनेसी, जॉर्जिया, नॉर्थ कैरोलिना और साउथ कैरोलिना, इन क्षेत्रों में 1.2 करोड़ लोग ही रहते हैं, लेकिन 22 करोड़ लोग हैं, जो एक दिन में यहां पहुंच सकते हैं। विशेषज्ञ बताते हैं कि जब भी ऐसे मौके आते हैं, लोग दूर-दूर से यहां पहुंच जाते हैं। खगोलविद कहते हैं कि सौरमंडल की गतिविधियों में दिलचस्पी रखनेवाले लोग 100 फीसदी सूर्यग्रहण या चंद्रग्रहण देखना चाहते हैं। इसलिए उस जगह जाना पसंद करते हैं, जहां से पूर्ण सूर्यग्रहण का नजारा देखा जा सके।

उल्लेखनीय है कि कोरोना टॉप का तापमान 18 लाख डिग्री फारेनहाइट (10 लाख डिग्री सेल्सियस) होता है, जो क्षेत्र को सौर सतह से ज्यादा गर्म बना देता है, जो महज 11,000 डिग्री फारेनहाइट (6,000 डिग्री सेल्सियस) होता है। वैज्ञानिकों को हमेशा इस बात ने परेशान किया है कि कोरोना कैसे इतना गर्म हो जाता है! इस रहस्य का पता लगाने के लिए पासाचॉफ और उनके साथी ‘ग्रेट अमेरिकन इक्लिप्स’ के दौरान महत्वपूर्ण आंकड़े एकत्र करेंगे। उन्होंने कहा कि सूर्यग्रहण के दौरान यह पता लगाने की कोशिश करेंगे कि कैसे कोरोना में ऊर्जा को कैसे इंजेक्ट किया जाता है।

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